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Wednesday, 12 July 2017

जो भक्त अपने सभी कर्तव्यों एवम् दायित्वो का पालन करते हुए स्वयम को पूरी तरह से अपने गुरुदेव/इष्टदेव में समर्पित किये हुए उनको हृदय में धारण करते है

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🌻***~ॐ~***🌻
🌻*श्री गुरुवे नमः*🌻
🌻*-🌷-🌷-🌷-*🌻
🌻"परम् पूज्य पापाजी द्वारा सत्संग के दौरान बताया गया कि–
🌻"जो भक्त अपने सभी कर्तव्यों एवम् दायित्वो का पालन करते हुए स्वयम को पूरी तरह से अपने गुरुदेव/इष्टदेव में समर्पित किये हुए उनको हृदय में धारण करते है। मन वचन कर्म से उन्ही के आदर्शो पर चलते है तथा अपने इष्टदेव में उनका प्रेम इतना गहरा है कि सर्वत्र अपने इष्टदेव/गुरुदेव के ही दर्शन होते है तथा उनकी स्थिति उसी भांति हो जाती है -
🌻"स्याम स्याम रटत रटत,राधे स्याम भई।
पूछत फिरत निज सखियन सो राधे कहा गई।।
इस प्रकार प्रत्येक भक्त जो अपने गुरुदेव द्वारा बताये गए मार्ग पर चलते हुए साधना करते है उन सबके हृदय में गुरुदेव निवास करते हुए अपने भक्त का हर सम्भव कल्याण करते है।"🌻
🌻*🌷परम् पूज्य गुरुदेव सब पर कृपा करे।🌷*🌻🌻🌻🌻🌻🌻🌻🌻🌻🌻(क्रमशः)🌻🌻🌻🌻🌻

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